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21/06/2025

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ट्रम्प ने इजराइल का साथ छोडा ईरान के पीछे रूस और चीन खड़ा है

ट्रम्प ने इजराइल का साथ छोडा ईरान के पीछे रूस और चीन खड़ा है

ट्रम्प ने इजराइल का साथ छोडा ईरान के पीछे रूस और चीन खड़ा है

एक नया मोड़ आ गया है की अमेरिका जितनी बेचैनी दिखा रहा था कि वो इस युद्ध में कितना जल्दी कूद जाए वो कब जी सेवन की बैठक छोड़ करके ट्रंप आ रहे हैं और कह रहे हैं कुछ बड़ा करने जा रहा हूँ फिर उसके बाद अपनी बैठक में अपने देश में बैठके करके रोज़ कोई ना कोई सोशल मीडिया पर पोस्ट डाल करके

अब मैं मार दूंगा मुझे पता है ईरान का पर वो का आदमी कहा है और जब मैं कुछ बड़ा करने वाला हूँ फिर पत्रकारों ने पूछा कि युद्ध में शामिल होने जा रहे हैं तो कहे हो भी सकते हैं, नहीं भेज सकते हैं

अब उसी ट्रंप ने कह दिया है कि दो हफ्ते तक वो कुछ नहीं करने वाला दो हफ्ते बाद वो कोई अंतिम निर्णय लेगा कि अमेरिका इस युद्ध में कूदेगा या नहीं कूदेगा अब इससे हुआ क्या है अब इजरायल को अकेला छोड़ दिया ट्रंप ने अब ट्रंप ने दो हफ्ते तक इजराइल को यह संकेत कर दिया है कि बेटा अब तुम अकेले लड़ो

अब इजराइल दो हफ्ते क्या ईरान के हमलों को झेलते हुए युद्ध में बने रहने के लिए सक्षम है अब ये क्या अकेले ईरान को छोड़ करके अमेरिका ने फिर से वही धोखा तो नहीं दे दिया, जो उसने कई देशों को पहले भी दिया था

डोनाल्ड ट्रम्प चाहते क्या है और क्या क्या हुआ पिछले 24 घंटे में एक बार विस्तार से इस को भी समझना जरूरी है डोनाल्ड ट्रंप पर आते हैं लेकिन उसके पहले बता दें कि पिछले 24 घंटे में फिर से ऑनर इस रेल के आसमानों में मिसाइलों के कई वीडिओज़ और फोटोस देखे गए

ईरान ने बेरसेवा और अन्य शहरों में अस्पताल सहित नागरिक इलाकों में बेलिस्टिक मिसाइल और ड्रोन हमला कर दिया ऐसा इजराइल का कहना है अस्पताल में इसराइल ने कहा कि कम से कम 71 लोग मारे गए और ईरान ने मल्टी वॉरहेड मिसाइलों का इस्तेमाल किया है लेकिन इजराइल ने इस बात को कहा कि भाई तुम जिसे अस्पताल कह रहे हो वो तो तुम्हारा सेना का यानी ये विवाद भी चल रहा है

ईरान में और क्या किया ईरान की विदेश मंत्री अब्बास अगरची ने कहा कि जब तक इजराइल हमलों को बंद नहीं करेगा तब तक बातचीत संभव ही नहीं है पिछले वीडियो में भी हमने बताया था और अभी यह रुख और स्पष्ट हुआ है कि रूस के राष्ट्रपति ने साफ तौर पर अमेरिका को यह पैगाम दिया है कि अगर अमेरिका किसी भी तरह ईरान के ऊपर हमलावर होता है, इसराइल के साथ में खड़ा होता है इस बात का बहाना बनाकर की ईरान नुक्लेअर वेपन्स को डेवलप कर रहा है

जिससे उस पूरे इलाके में और स्थिरता पैदा हो सकती है इसलिए अमेरिका कूदे का तो रूस का यह सख्त ऐलान है कि वह एक ऐसे पेंडोरा बॉक्स को खोलने जैसा होगा जो आगे कई तरह के विनाश की दिशा में ले जाएगा क्योंकि अगर ईरान के ऊपर अमेरिका हमलावर होता है तो फिर रूस और चीन भी चुप नहीं बैठेंगे

और अभी हम बताते हैं कि रूस और चीन कैसे इस मामले पर बकायदे नजर रखे हुए हैं अगर आगे की बात करें तो ईरान अब कूटनीतिक माध्यमों से बातचीत में रुचि ज़ाहिर कर रहा है लेकिन स्पष्ट है कि वो कोई भी शर्त नहीं मानेगा क्योंकि ईरान को भी समझ में आ रहा है कि कोई भी युद्ध जब लंबा चलेगा तो वो कितना लंबा चल सकता है

हालांकि अपने सोशल मीडिया के कई अकाउंट्स के जरिए ईरान हर शाम जब भारत में रात हो रही होती है तो उस समय ईरान की तरफ से कोई न कोई ऐसा ट्वीट जरूर आता है जो यह बताता है कि दुनिया अब वो देखेगी जो अब तक नहीं देखी दुनिया अब वो इस रात वो देखेगी जो कभी भूल नहीं पाएगी करके ईरान कई मिसाइलों के वीडिओज़ फोटोस जारी कर रहा है और ये दावा कर रहा है कि इजराइल के ऊपर वो इतना हमलावर है की वो तो इजराइल सच्चे पा रहा है

लेकिन उसको हमने बहुत बर्बाद किया है और कई तरह की विडीओ सोशल मीडिया पर वायरल होती जा रही है लेकिन यह भी सच है कि ईरान भी ये चाहता है कि हम भी कोई बातचीत की टेबल टॉक पर जाएं बशर्ते की ईरान साफ कर चुका है अपना मिज़ाज की जो अमेरिका धमकाना चाहता था या कोई भी शर्त रखना चाहेगा तो ईरान का साफ तौर पर कहना है कि वो किसी भी तरह की शर्त को नहीं मानेंगे

वहीं दूसरी तरफ अगर इजरायल की बात करें तो इजराइल की तरफ से दावा किया गया है कि उसने ईरान के और आत्मा फ्रांसिस पहन बसूर जैसे कई परमाणु और सैन्य स्थलों पर हवाई हमला किया है हिजबुल्लाह को संघर्ष में हस्तक्षेप से सतर्क करते हुए ईरान ने कहा कि अगर हेजबुल्लाह शामिल होता है तो उसे भारी कीमत चुकानी होगी, क्योंकि ईरान की तरफ से हिजबुल्लाह शामिल होगा

इजराइल बार बार अब ये संकेत कर रहा है अब आप देखिए कि पश्चिमी मीडिया करता क्या है पश्चिमी मीडिया इजरायल के हमले को बताता है कि वो ईरान के सैन्य ठिकानों पर हमला करना है और ईरान अगर कहता है कि वो इसराइल के सैन्य ठिकानों पर हमला कर रहा है तो इजराइल रोना रोने लगता है

की वो या तो हॉस्पिटल है या नागरिक लोग है वो मारे जा रहे हैं लेकिन सच बात यह है कि दोनों तरफ से इजरायल के हमले में 600 से ज्यादा की तादाद में ईरान के नागरिक भी मारे जा चूके हैं इसकी कई पुष्टि हो चुकी है और ईरान के तरफ से दावा है कि इससे कम इजराइल में नहीं मारे गए, लेकिन संख्या नहीं छिपा रहे हैं

इसलिए इज़राइल अब आगे क्या करना चाहेगा रक्षा मंत्री का हमने ही को आधुनिक हिटलर करार दिया और कह रहा है की यह युद्ध में शामिल होने का अपराध कर रहे हैं ईरान के प्रमुख और इजराइल के प्रमुख बेंजामिन नेतन्याहू का कहना है कि इरानी परमाणु और मिसाइल क्षमताओं को हम अब पूरी तरह से बर्बाद करना चाहते हैं और कई विडीओ ईरान की तरफ से भी बार बार आ रहे हैं, जिसमें नेतन्याहू को दिखाया जा रहा है। कि कहीं कोई मलबा ध्वस्त हुआ है तो वहाँ पहुँच गए कितना नुकसान हुआ

क्या हो रहा है और हर जगह खड़े होकरके नेतन्याहू इसकी पड़ताल कर रहे है इस्राइल आगे क्या कर सकता है, इसका आकलन कुछ लोगों का ये लगाया जा रहा है कि इजराइल जवाबी कार्रवाई को जारी रखेगा और परमाणु स्थलों पर हमले को भी उम्मीद की तरह देखे रखेगा

इस्राइल लिए संकेत किया है कि वह इस मामले में पीछे हटने वाला नहीं अब लेकिन दिलचस्प ये हो गया है कि जब अमेरिका ने कह दिया कि वह दो हफ्ते पीछे रहेगा तो इजराइल के अकेले दो हफ्ते तक ये लड़ाई जारी रख पाएगा इस पर दुनियाभर की नजर टिक्की हुई है रूस और चीन की बात करें तो इस पूरे मामले में रूस के राष्ट्रपति मेरे पुतिन ने इसे खतरनाक स्थिति की तरह बताया और चिंता व्यक्त की है और दोनों पक्षों से संयम बरतते हुए खुद भी मध्यस्थता की पेशकश की है

रूसी अधिकारियों ने खामनेई की हत्या जैसे कदमों को और या ईरान के परमाणु संयंत्रों को बर्बाद करने के अमेरिकी साजिश जिसका हम अभी आगे बताएंगे कि अमेरिका क्या सोच रहा है और पेंटागन ने वो कौन से रिपोर्ट दे दी जिससे अमेरिका डर गया और पेंटागन की रिपोर्ट के बाद अब ट्रंप को यह समझ में नहीं आ रहा है की कूदना तो चाहते हैं लेकिन करे क्या

कहीं ईरान के साथ उसी तरह के लंबे युद्ध में अमेरिका फंस तो नहीं जायेगा जैसा कि वो पहले कई अनुभव कर चुका है जिसमें उसका नुकसान हुआ है अमेरिका चाहता है कि ईरान के ऊपर बस हमला करे, घोषणा करे अगले दिन की भाई देखो हमने कर दिया काम अब हम पूरे मध्य पूर्व में स्थिरता ला रहे हैं

परमाणु संयंत्रों के को निष्क्रिय कर दिया है और ये बड़ा जरूरी था लेकिन ये करने में पेंटागन ने उसके सामने मुश्किल पैदा कर दी और इसीलिए रूस कह रहा है की अगर आप ऐसा कुछ करते हो तो आप ये कैसे पेंडोरा बॉक्स को खोलोगे की वो नुक्लेअर वोर की दिशा में एक बहुत अहम रोल प्ले करेगा

पिछले 24 घंटे में चीन के पक्ष की बात करें तो ईरान और इजरायल के युद्ध में चीन ने फिर से यह स्पष्ट कर दिया है की ये युद्ध विनाशक है यूएन में चीन के राजदूत ने इस्राइली हमलों की निंदा की चीन ने अपने नागरिको को सतर्क रहने की सलाह भी दी है शी जिनपिंग ने साफ कहा कि हालात में तनाव को और बढ़ाया है

अब जरूरत है कि कुछ डिप्लोमैटिक रास्ते निकाले जाएं जिससे कि इस मामले को थोड़ा सुलझाने की कोशिश की जाए माना ये जा रहा है कि रूस और चीन कोशिश करेंगे ये मामला आगे न बढ़ें लेकिन रूस और चीन इस बात पर सख्त नजर रखे हुए है कि अमेरिका अगर किसी भी तरह से ट्रंप के उस बहकावे में याद रखिएगा, ट्रंप के ट्वीट आपको याद है ना मुझे पता है कि ईरान का प्रमुख कहा है

अब देखो ये हुआ वो हुआ इन तमाम चीजों पर अमेरिका के रूस और चीन की नजर है अब आगे अमेरिका चाहता क्या है इसको समझना बहुत जरूरी है राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दो सप्ताह की अवधि का एक ब्रेक लिया है एक तरह से और मीडिया रिपोर्ट का मानना ये है की इसमें वि संभवता अमेरिकी सैन्य हस्तक्षेप का निर्णय लेंगे

जैसे फोड़ो परमाणु स्थल को निशाना बनाए जाने की योजना और यही सबसे बड़ा जगह है जहाँ पर अब आगे दारोमदार टिका हुआ है अब अमेरिका यह चाहता है कि ईरान में जो एक शहर उसका है, नुक्लेअर एनरिचमेंट प्लैन शहर में है और वो पहाड़ियों के 80 मीटर नीचे है इजराइल के पास जितनी मिसाइलें हैं वो 10 मीटर 20 मीटर के नीचे तक जा करके तो वार कर सकती है

लेकिन 80 मीटर पहाड़ी के नीचे जा करके वो उन परमाणु संयंत्रों पर कोई नुकसान नहीं पहुंचा सकती कूटनीतिक तौर पर पूरे दुनिया में इस बात की चर्चा है कि उन पहाड़ियों के नीचे जाकर के न्यूक्लियर प्लांट को बर्बाद करने के लिए बंकर बस्टर वेपन की जरूरत है, जो अमेरिका के पास है

 

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