खामनेई का ऐलाने जंग इजराइल ट्रम्प का उड़ा रंग

खामनेई का ऐलाने जंग इजराइल ट्रम्प का उड़ा रंग
खामनेई का ऐलाने जंग इजराइल ट्रम्प का उड़ा रंग
ट्रंप और नेतन्याहू की गुंडा धमकियों के बीच ईरान ने इसराइल को भूत बना दिया है उसके नागरिक बदहवास हैं और जगह जगह इस्राइली सेना को घेरकर पूछ रहे हैं कि तुम ने ईरान को छेड़ा क्यों और नेतन्याहू अपने देश की जनता से चोर की तरह भागते फिर रहे हैं
स्लौनिक वो लोग हैं रब सच ये है की इजराइल की कमर टूटी हुई है हो सकता है वो जंग को आगे खींच ले जाएं लेकिन जो चोट ईरान ने उसे पहुंचाई है उसका दर्द भूलने में सदियों लगेंगे हवा में इठलाती ऐश्वर्य की उसकी गगन चुंबी अट्टालिकाएं ताश के पत्ते की तरह धराशायी होती जा रही है
सबसे खूंखार माने जाने वाली खुफिया एजेंसी मोसाद का हेडक्वार्टर तक जला दिया ईरान और जब नेतन्याहू की गुंडा धमकियाँ काम नहीं आई तो डोनाल्ड ट्रंप को मैदान में उतरना पड़ा लेकिन इसका असर क्या हुआ अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की जान से मार देने की धमकियों की खिल्ली उड़ाते हुए ईरान के सुप्रीम लीडर अयातुल्ला खामनेई ने कहा है कि बकवास बंद करो और इसराइल की खैर मनाओ
हम छोड़ने वाले नहीं हैं आपको पता ही है कि कनाडा में हो रही जी सेवन की बैठक को बीच में ही छोड़कर वॉशिंगटन के लिए निकलते हुए ट्रंप ने सीधे सीधे ईरान के सुप्रीम लीडर उल्लाखान नहीं को जान से मार देने की धमकी दी थी उन्होंने कहा था कि हम एक हमने एक ठिकाने के बारे में सब कुछ पता है और वो तभी तक जिंदा है जब तक हम चाहते हैं और अगर हम उन्हें अभी नहीं मान रहे हैं तो ये हमारी कृपा है
बेंजामिन नेतन्याहू तो यहाँ तक बोल चूके हैं की हम को इराक के राष्ट्रपति सद्दाम हुसैन की तरह चौराहे पर घसीटकर मारेंगे दुनिया इस गुंडा सोच पर हैरान है इंतज़ार कर रही थी कि ईरान इस पर किस तरह की प्रतिक्रिया देता है और वो प्रतिक्रिया आ गई है
ईरान के सुप्रीम लीडर अयातुल्ला खामनेई ने 17 जून की देर रात ट्विटर पर लिखा, जंग शुरू होती है हम आतंकी यहूदी शासन को कड़ा जवाब देंगे उन पर कोई दया नहीं दिखाएंगे अरबी भाषा में किए गए इस ट्वीट का अनुवाद करें तो कुछ यूं होता है हैदर के नाम से युद्ध शुरू होता है
अली अपने जुल्फिकार के साथ खैबर पर लौटते अल्लाह् पर मतलब ईरान ने इसे सिर्फ युद्ध की शुरुआत माना है वो पांच दिनों की भीषण लड़ाई को युद्ध मान तक नहीं रहा था काम नहीं कहीं से ऐलान के बाद ईरान ने इजरायल पर 25 मिसाइल ने एक साथ था की ईरान इसराइल के बीच 12 जून से ही विनाशक संघर्ष जारी था, लेकिन ईरान मानकर चल रहा था की ये तत्कालिक लेकिन ट्रंप के सामने ही को खत्म कर देने की सीधी धमकी के बाद खामनेई ने ही की पोस्ट को जंग का आधिकारिक ऐलान माना जा रहा है
यानी अब इसे संघर्ष की बजाय जंग कहा जाएगा, युद्ध कहा जाएगा और जीस तरह के हालात बन रहे हैं उसमें किसी भी समय अमेरिका भी इस जंग में सीधे तौर पर शामिल हो सकता है कनाडा से वाशिंगटन पहुंचते ही राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने फौरन व्हाइट हाउस के सिचुएशन रूम में नैश्नल सिक्योरिटी टीम के साथ एक गंभीर बैठक की यह बैठक लगभग 1:20 तक चले इसे लेकर एक अमेरिकी अधिकारी ने मीडिया को बताया कि ट्रंप ईरान के नुक्लेअर सेंटर पर हमला करने पर भी विचार करना है
साथ ही अमेरिका ने मिडल ईस्ट में और ज्यादा फाइटर जेट्स भेजने का फैसला किया है वहीं न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका के टैंकर प्लेन इस्राइली फाइटर जेट्स को ऑइल सप्लाई भी कर सकते हैं ताकि वो लंबी दूरी तक हमला कर सके फिलहाल अमेरिका के चार बी 52 बॉम्बे ऑर क्राफ्ट हिंद महासागर के डिएगो गार्सिया बेस पर तैनात हैं जो ईरान पर हमले की रेंज में हैं
मतलब हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं ईरान इसराइल के बीच लड़ाई में अब तक 224 इरानी मारे जा चूके हैं जबकि 1277 घायल हुए वहीं इजराइल में अब तक 24 लोगों की जान गई है जबकि 600 से ज्यादा लोग घायल हैं
ज़रा सोचकर देखिए कि 86 साल के खामनेई के आगे किस तरह इजराइल की तरह पड़ा हुआ है उनका जन्म 19 अप्रैल 1939 को हुआ था संसार के किसी भी देश के सबसे उम्रदराज राष्ट्राध्यक्ष हैं ऐसे खामनेई को मिटाने के लिए इजराइल के पीछे से चोर की तरह वार करते हैं
अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस जैसे देशों ने अपना ढोंगी चेहरा उधेड़ कर रख दिया दुनिया के सबसे ताकतवर देशों के संगठन जी सेवन को मिलकर बयान जारी करना पड़ रहा है कि हम ईरान को खत्म कर देंगे गजा के बाद मानवतावादी और लोकतांत्रिक होने के पश्चिमी पाखंड को इस लड़ाई करके छोड़ दिया है
अमेरिकी थिंकटैंक सीटीपी आइएसडब्ल्यू के मुताबिक, इजराइल ने ईरान की तुलना में उस पर पांच गुना ज्यादा हवाई हमले किए हैं सूची 13 जून को इजराइल के ईरान पर हमले शुरू करने के बाद से इस्राइली सेना ने ईरान पर 197 हवाई हमलों की जानकारी दी है वहीं इसी दौरान
ईरान ने इसराइल पर 39 बेलिस्टिक मिसाइल हमलों या इंटरसेप्टर की पुष्टि की है इस्राइली सेना ने कहा है कि 17 जून की पूरी रात चले एक बड़े ऑपरेशन में 50 से ज्यादा लड़ाकू विमानों ने हिस्सा लिया इस हमले में ईरान के कई अहम ठिकानों को निशाना बनाया गया जिनमें परमाणु हथियारों से जुड़ी एक फैक्टरी और हथियार बनाने वाली कई जगह शामिल थी
इस्राइली सेना के मुताबिक जिन हथियार फैक्टरियों को निशाना बनाया गया, वहाँ मिसाइलों और विमानों को गिराने वाले सिस्टम बनाए जा रहे थे इन जगहों पर कच्चे माल और जरूरी उपकरण तैयार किए जा रहे थे साथ ही तेहरान में जिंस सेंट्रीफ्यूज़ प्रोडक्शन साइट पर हमला हुआ वो यूरेनियम को शुद्ध करने के लिए इस्तेमाल होता था
इजराइल की सेना ने इस ऑपरेशन में शामिल लड़ाकू विमानों की उड़ान की एक फुटेज भी जारी की इजराइल 18 जून की सुबह भी ईरान की राजधानी तेहरान पर हमले किए मेहर न्यूज़ एजेंसी ने एक वीडियो जारी किया है जिसमें तेहरान के आसमान में विस्फोट होते दिख रहे हैं
इसमें दावा किया गया है कि ईरान की एयर डिफेन्स फोर्स ने इजराइल की ओर से दागी गई मिसाइलों को मार गिराया अब ये लड़ाई इजराइल से ज्यादा अमेरिका लड़ रहा है इस लड़ाई को लेकर नेतन्याहू या आईडी अब से ज्यादा बयान खुद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के आ रहे हैं
अमेरिकी विदेश मंत्रालय पश्चिम एशिया की स्थिति पर नजर रखने के लिए एक टास्क फोर्स बना रहा है अमेरिका ने एक ट्रैवल एडवाइजरी जारी की है, जिसमें किसी भी अमेरिकी को इजराइल और इराक की यात्रा में सावधानी बरतने की सलाह दी गई ये टास्क फोर्स स्थिति बिगड़ने पर अमेरिकी राजनयिक कर्मचारियों और पश्चिम एशिया क्षेत्र के आम नागरिको को सुरक्षित निकालने की रणनीति पर काम करेगा
अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा है कि विदेश नीती का कंट्रोल पूरी तरह व्हाइट हाउस और राष्ट्रपति ट्रंप के हाथों में है लेकिन डर है कि अमेरिका के लोग ट्रंप की गुंडा सोच के खिलाफ़ खुद ही सड़कों पर ना उतर जाये है
क्योंकि एक सर्वेक्षण में पता चला है कि ज्यादातर अमेरिकी नागरिक नहीं चाहते कि अमेरिका इसराइल और ईरान के बीच जंग में सीधे तौर पर शामिल हों लगभग 60% लोगों ने कहा कि अमेरिका को इससे दूर ही रहना चाहिए 24% लोगों ने कहा कि वो कुछ भी बताने की स्थिति में नहीं है सिर्फ 16% लोगों ने अमेरिका के इजराइल ईरान युद्ध में शामिल होने पर सहमति जताई
मतलब 84% लोग डोनल्ड ट्रंप की ईरान नीती को लेकर सहज है अमेरिका के जो ट्रम्प के लिए चिंता की सबसे बड़ी बात है वो ये कि डेमोक्रेट्स में से 65 फीसदी ने तो अमेरिका के जंग में शामिल होने का विरोध किया ये 53 फीसदी रिपब्लिकन्स ने भी इसके विरोध में अपनी बात कही मतलब ट्रम्प के अपने समर्थक उनके खिलाफ़ हैं। देखिए इजराइल ईरान युद्ध का अंजाम चाहे जो लेकिन तेजी से घटती घटनाओं के बीच 86 साल के सामने ही ने जिसतरह से दुस्साहसिक नेतृत्व की मिसाल दुनिया के सामने रखी है उसने अमेरिका और इसराइल के दांत खट्टे कर दिए
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